Ticker

7/recent/ticker-posts

पैसा हमारा मालिक या नौकर | Lalach ki Kahani

 पैसा हमारा मालिक या नौकर | MONEY IS OUR BOSS OR SERVANT  - www.saralvichar.in


एक बार एक राजा ने एक लालची आदमी को एक अनोखा इनाम दिया। सूर्योदय से लेकर सूर्यास्त तक वह आदमी जहां तक दौड़कर वापिस आएगा, उतनी जमीन उनके नाम लिख दी जाएगी। वह आदमी बहुत खुश हुआ। दोपहर तक वह कई मील दौड़ चुका था और ...

अगर वह उसी समय मुड़कर लौट आता तो बाकी जिंदगी - चैन से रह सकता था। वह कई एकड़ जमीन का सुख- स्वामी बन सकता था। परंतु उसके मन में और ज्यादा हासिल करने का लालच था। उसने सोचा अभी और कुछ जमीन हासिल कर ली जाए।

जब सूरज पश्चिम की तरफ आने लगा तो उसे वापिस लौटने की चिंता हुई। अगर वह सूरज ढलने तक वापस नहीं लौट पाया तो उसे कुछ भी हासिल नहीं होगा। इसलिए उसने लौटते समय अपनी पूरी जान लगा दी । दौड़ते-दौड़ते वह हांफने लंगा, उसके मुंह से खून गिरने लगा परंतु लालच में वह दौड़ता ही रहा। 

आखिरकार सूरज के डूबने तक वह उस बिंदु पर पहुंच ही गया, जहां से उसने शुरु किया था। वहां पहुंचते ही औंधे मुंह गिर गया। लोगों ने देखा वह मर चुका था। उसने जमीन तो हासिल कर ली, किंतु उसका उपभोग नहीं कर पाया। क्या यही ज्यादातर लोगों के साथ नहीं होता? अगर आप धन का आनंद नहीं ले पाते...

तो धन कमाने से क्या फायदा?

उपभोग तो शायद सभी करना चाहते हैं, परंतु ज्यादातर लोग अपने सुख को कल पर टालते रहते हैं। वे यह सोचते हैं कि जब यह हो जाएगा तो वे कार खरीदेंगे, जब यह हो जाएगा तो वे चैन से बैठेंगे। परंतु उनका 'यह' कभी नहीं हो पाता। वे हमेशा पैसे के पीछे भागते रहते हैं, और उनके पास कभी संतुष्ट होने और सुखी होने की फुर्सत ही नहीं होती ।

धन कमाना महत्वपूर्ण है, परंतु धन का उपभोग करना उससे भी महत्वपूर्ण है। धन उपभोग करने के लिए होता है और हम अगर उसका उपभोग जवानी में ही नहीं कर पाए तो हम बुढ़ापे में इस लायक नहीं रह जाते कि उसका उपभोग कर पाएं।

इंसान को धन का दास नहीं, बल्कि उसका स्वामी बनना चाहिए।

 

 SARAL VICHAR

-----------------------------------------------

Topics of Interest

lalach ki kahani, lalach par kahani hindi, dhan ka upbhog, dhan kamane ka sach, motivational story hindi, greed story in english hindi, paisa aur sukh, dhan aur lalach, short story on greed, life lesson hindi, kahani with moral, dhan ka sahi upyog



एक टिप्पणी भेजें (POST COMMENT)

0 टिप्पणियाँ